#देशभक्त व #देशद्रोही में अंतर समझना पड़ेगा
#आज़ादी की कभी शाम ना होने देंगे, शहीदों की कुर्बानी बदनाम ना होने देंगे ।
बची हो जब तक एक भी बूँद लहू की रगों में, तब तक भारत माता का आँचल नीलाम ना होने देंगे ।।
बची हो जब तक एक भी बूँद लहू की रगों में, तब तक भारत माता का आँचल नीलाम ना होने देंगे ।।
नारा तो अच्छा है, थोड़े समय के लिए जोश भी आ जाता है लेकिन सच में ऐसी भावनायें हमारे खूनों में हमेशा दौड़ती है क्या । वास्तव में ऐसी देशभक्ति हमेशा देखने को नहीं मिलती । सच तो यह है कि 26 जनवरी या 15 अगस्त से दो-चार दिन पहले देश में देशभक्ति का सैलाब उमड़ता है फिर सैलाब ठण्डा हो जाता है ।
सिर्फ दो दिनों की मोहताज नहीं है देश भक्ति,
#नागरिकों की एकता ही है देश की असल शक्ति ।
Jago Hindustani - Today We need to understand the meaning of patriotism |
देशभक्ति का यह #अर्थ भी नहीं है कि हम #देशप्रेम के नारों से आसमान गूँजा दें, तिरंगा फहरा दें, देश प्रेम, #स्वतंत्रता सेनानियों पर खूब सारे भाषण झाड़ते रहें और अपने आपको महान देशभक्त के रूप में दिखाते हुए इन दो-चार दिनों में पूरे उत्साह में भरे रहें । बहुत #झंडे फहरा लिए, भाषण दे दिए, अब वक्त आ गया है कुछ करने का । देशभक्ति का राग अलापना और दिखावा करना छोड़कर, पाखण्ड और प्रपंचों को तिलांजलि देकर देश के भीतर हमारी अस्मिता को कमजोर करनेवाले #देशद्रोहियों और #भ्रष्ट तत्त्वों को बेनकाब करने की आवश्यकता है । यही असली देशभक्ति है । देश में रहकर देश को खोखला करनेवाले देश प्रेमी हो सकता है क्या ? वादा करें कुछ, निभाये कुछ, बोले कुछ, करें कुछ - ऐसे लोग देश के गद्दारी नहीं तो और क्या हैं ? क्या देशद्रोही, #भ्रष्टाचारी और रिश्वतखोरी करनेवाले देशभक्त हो सकते हैं ?
भ्रष्टाचार, #रिश्वतखोरी और कमीशनबाजी के आड़ में लोगों को तंग करना, पैसा न मिलने तक काम अटकाते-लटकाते या बिगाड़ देना, अपना-पराया करना, जातिवाद, क्षेत्रवाद और भाषावाद फैलाना, पैसों, जेवरों और हराम के भोग-विलास के संसाधनों और कामिनियों से शारीरिक सुख पाने के लालच में आतंकवादियों को पनाह देना, ड्रग माफियाओं के एजेंट की तरह काम करना, देश के विभाजन का ताना-बाना बुनना - क्या इस तरह के कर्म करनेवालों को देशभक्त कहेंगे ?
#नक्सली_आतंकवादी सेना के बहादुर जवानों को बेरहमी से मार डालें और #धर्मनिरपेक्षवादी लोग इसे क्रांति का नाम देकर #विश्वविद्यालय में खुशी मनाते हैं । #संसद पर हमला करनेवाले अभियुक्त को फाँसी लगे तो उसे #ज्युडिशियल_मर्डर कहकर विरोध प्रदर्शन करते हैं । ट्रेनों में बम रखकर पूरी मुंबई को दहलाने वाले शख्स की फाँसी रुकवाने के लिए रात को दो बजे #सुप्रीम_कोर्ट को खुलवाते हैं, कोर्ट फाँसी की सजा बरकरार रखती है तो उस याकूब मेमन को फाँसी लग जाय तो सामूहिक शोक मनाते हैं । घंटों तक टीवी पर बहस करते हैं, #देशद्रोहियों का #इंटरव्यू दिखाते हैं - क्या ऐसे #धर्मनिरपेक्षवादी लोग देशभक्त हैं ? वास्तव ऐसे लोगों देशभक्त नहीं देशद्रोही हैं । ऐसा छुपे हुए गद्दारों को पहचानना होगा ।
धिक्कार है ऐसे लोग जो देशद्रोही हैं, भ्रष्ट, कमीशनबाज और रिश्वतखोर हैं । वर्तमान समय में देश को #आतंकवादियों और देश के भीतर बैठे भ्रष्ट, बेईमान और कामचोरों को ठिकाने लगाना हर सच्चे देश भक्त का सबसे बड़ा फर्ज है ।
हर सच्चे देश भक्त को एक नयी #ऐतिहासिक पहल गद्दारों को ठिकाने लगाने के लिए करनी होगी । एक कवि ने ठीक ही कहा है-
जब सूरज संग हो जाए अंधियारा, तब दीये का टिमटिमाना जरूरी है ।
जब देश को खतरा हो गद्दारों से, तो गद्दारों को धरती से मिटाना जरूरी है ।
जब गुमराह हो रहा हो युवा देश का, तो उसे सही राह दिखाना जरूरी है ।
जब हर ओर फैल गई हो निराशा देश में, तो क्रांति का बिगुल बजाना जरूरी है ।
जब #नेताओं के हाथ में सुरक्षित न रहे देश,तो फिर सच्चे देशभक्तों का आना जरूरी है ।
जब सीधे तरीकों से देश न बदले, तब #विद्रोह करना जरूरी है ।
जब देश को खतरा हो गद्दारों से, तो गद्दारों को धरती से मिटाना जरूरी है ।
जब गुमराह हो रहा हो युवा देश का, तो उसे सही राह दिखाना जरूरी है ।
जब हर ओर फैल गई हो निराशा देश में, तो क्रांति का बिगुल बजाना जरूरी है ।
जब #नेताओं के हाथ में सुरक्षित न रहे देश,तो फिर सच्चे देशभक्तों का आना जरूरी है ।
जब सीधे तरीकों से देश न बदले, तब #विद्रोह करना जरूरी है ।
सच्चे देशभक्त ही देशद्रोहियों, बेईमानों और भ्रष्ट तत्त्वों को बेनकाब कर सकता हैं । सच्चे देशभक्त ही देश को सुरक्षित, संरक्षित और विकसित करने में अहम भूमिका निभा सकता है ।
जो सच्चे देशभक्त हैं, जो वास्तव में देश से प्रेम करते हैं वे सारे #अनैतिक कामों से दूर रहते हैं । वह जाति-पाति, ऊँच-नीच, गरीब-अमीर, भाषा, क्षेत्र आदि के आधार पर भेदभाव नहीं करता । वह कोई ऐसा काम नहीं करता जो देश के लिए घातक हो । सच्चा देशभक्त मानवीय मूल्यों और अपनी #संस्कृति की सेवा के प्रति जीवन को समर्पित कर देता है ।
देशभक्ति का मतलब यही है कि जहाँ हम रहते हैं, काम करते हैं वहाँ अपना काम #ईमानदारी से पूरा करें, देश को सामने रखें और इस प्रकार गुणवत्ता से काम करें कि देश के लिए काम आयें । हम अपने कर्तव्य के प्रति जागरुक रहें, अपनी #जिम्मेदारी को ईमानदारी व सत्यनिष्ठा के साथ निभायें । यह सद्भाव रखें कि हमारे संपर्क में आनेवाला प्रत्येक देशवासी हमारा अपना है, उसका काम करना, उसे सहयोग देना हमारा फर्ज है।
सभी को देश की सीमाओं पर लड़ने की आवश्यकता नहीं है, पर अपना कर्तव्य निभाने की सभी को आवश्यकता है । भीड़ को जुटाकर झंडे फहराने, भाषण झाड़ने और देशभक्ति का प्रचार करने की उतनी आवश्यकता नहीं है, जितनी आवश्यकता है अपने कर्तव्य को निभाने की । धन्य है ऐसे लोग जो अपने कर्तव्य को समझकर देश के लिए अहम योगदान दे गये ।
आओ झुक कर सलाम करें उनको, जिनके हिस्से में ये मुकाम आता है ।
खुशनसीब होता है वो इंसान, जो देश के काम आता है!
स्वाधीनता दिवस की आपको हार्दिक बधाई !वंदे मातरम् ।
खुशनसीब होता है वो इंसान, जो देश के काम आता है!
स्वाधीनता दिवस की आपको हार्दिक बधाई !वंदे मातरम् ।
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